Skip to main content

Posts

सरकारी विभागों के मजदूरों के लिए श्रम कानून (Labour Law for Outsourcing Workers)

 

श्रम कानूनों में प्रचलित महत्वपूर्ण शब्दावली सरल शब्दों में

(इस शब्द-कोष की परिभाषाएँ सहज शब्दों में छात्रों के समझने के उद्येश्य से लिखी गयी है । कृपया शाब्दिक परिभाषा जानने के लिए मूल अधिनियम में उल्लेखित शब्दों को संदर्भित किया जाए ।)   1.    श्रम ( Labour) - श्रम वह मानसिक या शारीरिक प्रयत्न है जो अंशतः या पुर्णतः कार्य से प्राप्त होनेवाले सुख के अतिरिक्त, अन्य किसी आर्थिक उद्येश्य से किया जाता है । अर्थशास्त्र में श्रम के लिए मानवीय प्रयत्न, मानसिक एवं शारीरिक श्रम, आर्थिक लाभ तथा भौतिक या अभौतिक पदार्थों का निर्माण होना आवश्यक है । 2.   श्रम अर्थशास्त्र (Labour Economics) - श्रम अर्थशास्त्र वह विषय है जिसमे विभिन्न श्रम समस्याओं का सैद्धांतिक और व्यवहारिक रूपों में अध्ययन किया जाता है । 3.    सामाजिक विधान (Social Legislation) - वैसे विधान जिनका उद्येश समाज के उन समूहों की आर्थिक एवं सामाजिक स्थिति में सुधार लाना है , जो समाज में कमजोर स्थिति में है तथा जिन्हें उम्र , लिंग , शारीरिक दशाओं , मानसिक बाधाओं एवं आर्थिक या सामाजिक  कारणों के कारण स्वयं मानवोचित ढंग से जीवन-यापन करने में असमर्थ ह...

कर्मचारी राज्य बीमा अधिनियम, 1948

 कर्मचारी राज्य बीमा अधिनियम, 1948 यह अधिनियम बीमारी, मातृत्व, कार्य के दौरान दुर्घटना और कुछ अन्य विषयों पर कामगारों को लाभ देने का प्रयास करता है। इस अधिनियम का उद्येश्य है- बीमाकृत कर्मचारी को नियोजन के कारण दुर्घटना मृत्यु होने पर उसके आश्रितों को आर्थिक सहायता देना, नियोजन के कारण दुर्घटनाग्रस्त होकर अपंग होने पर उसको अपंगता के अनुसार आर्थिक सहायता देना, उप-जीविका जन्य रोगों में कामगार को आर्थिक सहायता देना, महिला कर्मचारी को प्रसूति हितलाभ उपलब्ध करवाना, चिकित्सीय सहायता उपलब्ध करवाना, आदि। इस अधिनियम के मुख्य प्रावधान निम्न है- 👉 इस योजना का विस्तार 10 या अधिक कामगार होने की स्थिति में गैर-मौसमी कारखानों, दुकानों, होटलों, रेस्तरां, सिनेमाघरों, थिएटर, शैक्षणिक-संस्थानों, सड़क-मोटर परिवहन उपक्रम, समाचार पत्र प्रतिष्ठान, बीमा व्यवसाय में लगे प्रतिष्ठान, गैर बैंकिंग वित्तीय कंपनियाँ, पोर्ट ट्रस्ट, हवाई अड्डा प्राधिकरण और वेयरहाउसिंग प्रतिष्ठान में किया गया है। 01.01.2017 से इस अधिनियम के तहत आच्छादन के लिए मजदूरी की सीमा अधिकतम 21000/- रुपए प्रतिमाह है। 👉 कर्मचारी राज्य बीमा नि...